अंडरवर्ल्ड डॉन अबू सलेम कि सच्ची कहानी | Abu Salem biography

कॅप्टन जिसकि फोन पर एक आवाज सुनकर बॉलीवूड सीतारे काप जाते थे अब वो जेल मे अपनी उमर कैद कि सजा काट रहा हे उसने अपनी जिंदगी फिल्मी सितारे जैसी जी अंडरवर्ल्ड मे बहोदसे डॉन हुये लेकिन हर किसी को ऐसी लक्जरी लाईफ जीनो को नहीं मिली आज हम जानेगे कॅप्टन उर्फ अबू सलेम: abu salem के बारे मे

Abu salem biography hindi

अबू सलेम का शुरुवाती जीवन 

Up के आजमगड जिल्हे मे सरायमीर नाम के छोटेसे गाव मे 1966 अबू सलेम का जन्म हुआ. सलेम कि घर की हालत कुछ ठीक नहीं थी उसके पिता अब्दुल कय्युम पेशेसे वकील थे सलेम को चार भाई तीन बेहने थी. एक दिन सलेम कि पिता कि रोड अकॅसिडेन्ट मे मौत हो जाती हे. पिता के मरने के बाद घर चलाने केलीये सलेम गाव मे ही पंचर बनाने कि दुकान शुरु करता हे. लेकिन पंचर कि दुकान से घर चलाना मुश्किल होता देख ओ दिल्ली कि तरफ अपना रुख करता हे. दिल्ली मे वो टॅक्सी ड्राइवर का काम करता हे लेकिन वहा भी वो कुछ खास नहीं कमा पाता. 1985 को सलेम मुंबई आ जाता हे. मुंबई के अंधेरी मे वो ब्रेड डिलिव्हरी बॉय का काम करता हे. एक दिन वो अपने साथ काम करने वाले लडके को किसी बात से बुरी तरह पीट देता हे. पिटने के बाद उस्पर पेहला मुकदमा चलता हे.


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Abu Salem


अबू सलेम कि अंडरवर्ल्ड मे एन्ट्री 

1990 के दौर मे अबू सलेम मुंबई के जोगेश्वरी मे अराशा शॉपिंग मॉल मे काम करने लगा. उस मॉल मे कुछ लोग ऐसे भी आते जो अंडरवर्ल्ड से थे वो मॉल मे भाईगिरी करते उणें देख सलेम उनसे प्रभावित हो गया. सलेम भी अब सपने देखने लगा कि लोग उससे भी डेरे वो भी अब जल्द से जल्द अमीर बन जाए. सलीम अपना काम खतम होने के बाद शाम को अंडरवर्ल्ड के लोगो के साथ घुमने फिरने लगा. इन लोगो के साथ मिलकर उसकी पहचान दाऊद इब्राहिम के छोटे भाई अनिस इब्राहिम से हुयी. अनिस उसे ड्राइवर के तौर पर काम पर रखता हे. बादमे सलेम दावूद इब्राहिम के गिरोह के लोगो को हत्यार, बंदुके पोहचाने जैसे काम करने लगा. अनिस ने उसे सोने कि स्मगलिंग का काम भी सिखा दिया.
           
90s मे मुंबई पोलीस D कंपनी के बहोतसे शूटर को इनकॉउंटर मे मार रही थी या दुसरे गिरोह के एक दुसरे के शार्प शूटरो को मार रहे थे. तब अपने गाव आजमगड से सलेम बेरोजगार मुस्लिम लडको को बुलाता उनसे किसी को मारणे का काम कराता और उने काम होणे पर वापस भेज देता. ऊन लडको का क्रिमीनल रेकॉर्ड नहीं होणे के वजसे वो मुंबई पोलीस के हाथ नहीं आते. अब सलेम का D कंपनी मे रुतबा बढने लगा और उसे बॉलीवूड से वसुली करना धमकाना ऐसे काम सलेम छोटा शकील के नीचे रेहकर करने लगा. 1997 को छोटा शकील कि वजह से अबू सलेम D कंपनी से अलग हो गया और अब वो खुद अपने नाम पर बॉलीवूड के लोगोको धमकाने लगा उनसे फिरोती लेने लगा.
                  

अबू सलेम को उम्रकैद कि सजा 

अबू सलेम पर 1993 मुंबई सीरिअल ब्लास्ट मे हत्यार, गोलो  को सही ठिकाणे पर पोहचाना, गुलशन कुमार कि हत्या, फिल्म अभिनेत्री मनीषा के सेक्रेटरी पर गोलिया चलाना, मुंबई के बिल्डर प्रदीप जैन कि हत्या करवाना जैसे 50 से ज्यादा गुनाह मे उसे कोर्ट ने दोषी माना और कोर्ट ने उसे उम्र कैद कि सजा सुनाई अभी सलेम अपनी उम्रकैद कि सजा काट रहा हे


अबू सलेम के 3 मशहूर किस्से

1)बिल्डर प्रदीप जैन कि हत्या 

अबू सलेम के पेहले शिकार प्रदीप जैन थे प्रदीप के भाई को सलेम ने डोंगरी कि प्रॉपर्टी छोडणे कि या जान से हाथ धोने कि धमकी दि थी. लेकिन सलेम कि धमकी को प्रदीप ने हलके मे लेलिया. सलेम के शुटर सलीम हड्डी ने 7 मार्च 1995 को प्रदीप के दप्तर मे उसे गोली मार कर मार डाला. लेकिन कहानी अभी खतम नहीं हुयी प्रदीप के तेरवी के दिन सलेम उसकी बीबी को फोन पर केहता हे. तुमे विधवा बनने का सुख मिल रहा हे अगर प्रदीप ने पैसे दिये होते तो यैसी नोबत नहीं आती. प्रदीप के भाई से कहो पैसे देदे वरना सबको मार डालूगा.

2)संगीतकार गुलशन कुमार हत्याकांड 

संगीतकार गुलशन कुमार को सलेम ने पैसे मागे. लेकिन गुलशन कुमार ने जवाब मे कहा तुमे पैसे देणेसे अच्छा मे वैष्णो देवी का भंडारा करू. अबू सलेम ने घुसे मे आकर अपने शूटर राजा को गुलशन कुमार को मारणे भेज दिया और मारते वक्त मोबाईल शुरु रखने को कहा था. ताकी वो गुलशन कुमार कि चिख्खे सून सके.

3)फिल्म स्टार मोनिका बेदी

पंजाब से आयी मोनिका बेदी मुंबई मे डान्स सिख रही थी. डान्स सिखते सिखते वो फिल्मो मे रुची बढने के बाद मुकेश दुग्गल कि फिल्म सुरक्षा उसको मिली. दुबई मे एक बॉलीवूड पार्टी मे मोनिका सलेम से मिली. पार्टी से शुरु हुवा रिश्ता कै देशो और जेलो मे अबू सले के साथ सजा काट कर 4 जुलाई 2007 को खतम हुआ. 
   
ये आर्टिकल हुसेन जैदी कि किताब 'मे अबू सलेम बोल रहा हू' के आधार पर लिखा गया हे.

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